ब्लड ग्रुप डाइट

ब्लड ग्रुप के हिसाब से क्या खायें और क्या ना खायें
ब्लड ग्रुप (Blood Group) के हिसाब से डाइट चार्ट

ब्लड ग्रुप के मुताबिक ही हर व्यक्ति की डाइट भी अलग-अलग होती है। अगर अपने ब्लड ग्रुप को ध्यान में रखकर अपना आहार चुना जाए तो आप न सिर्फ सेहतमंद रहेंगे , बल्कि बीमारियों का सामना भी डटकर कर पाएंगे । ब्लड ग्रुप के मुताबिक कैसे चुनें अपनी डाइट, बता रहे हैं स्वास्थ्य एवं फिटनेस एक्सपर्ट नीरज मेहता

हम जो भी खाते हैं वो हमारे शरीर के रसायनों के साथ मिलकर प्रतिक्रिया करता है, इसका असर हमारे मन, शरीर पर अलग-अलग तरह से होता है। हर व्यक्ति के ब्लड ग्रुप के अनुसार उसकी डाइट भी अलग होती है। उदाहरण के लिए जिस तरह सभी बीमारियों के लिए एक दवा नहीं दी जाती, हर रोग का एक अलग उपचार होता है, उसी प्रकार हर व्यक्ति की आधारभूत संरचना अलग होने के कारण उनके शरीर की भोजन की मांग भी अलग होती है। जब हम अपने ब्लड ग्रुप के अनुसार डाइट लेते हैं, तो जो एंटीजन हमारा शरीर बनाता है और जो भोजन से प्रोटीन लेक्टिन्स प्राप्त होते हैं, दोनों मिलकर हमारे शरीर की रक्षा प्रणाली को बढ़ा देते हैं। सही भोजन प्रणाली से हमारे शरीर को रोग प्रतिरोधी लेक्टिन्स प्राप्त होते है और दोनों मिलकर हमारे शरीर की रक्षा प्रणाली को बढ़ा देते हैं। इस प्रकार सही डाइट से हमारे शरीर की रोग प्रतिरोधी क्षमता बढ़ जाती है। ब्लड ग्रुप के अनुसार डाइट लेने से स्वास्थ्य में अचानक परिवर्तन आ सकता है।

हमारे Blood Group को चार भागों में बांटा गया है- ओ, ए, बी और एबी। सभी ग्रुप्स के द्वारा अनुकूल डाइट को तीन भागों में विभाजित किया जाता है। पहला शरीर को अत्यधिक लाभ पहुंचाने वाला भोजन। दूसरा, वो भोजन जो नुकसान नहीं पहुंचाता। तीसरा वो भोजन जिसमें हमें बिल्कुल नहीं लेना चाहिए, जो शरीर को नुकसान पहुंचा सकता है।

ओ ब्लड ग्रुप डाइट
इस Blood Group के लोगों में एसिड की मात्रा अधिक होती है। ये मीट अच्छी तरह से पचा सकते हैं। इसके अलावा ऑलिव ऑयल, कद्दू के बीज, बीन्स, राजमा, पत्तेदार सब्जी जैसे ब्रोकली, साग, पालक, अरबी, कद्दू, लहसुन, आलूबुखारा, पार्सले (अजमोद), सोडा आदि खाना चाहिए।

क्या न लें: पोर्क, कॉर्न ऑयल, मूंगफली का तेल, आलू, कॉर्न और मिल्क प्रोडक्टस इत्यादि जो चीजें ज्यादा अम्ल बनाती हों, वो भी न लें।

ए ब्लड ग्रुप डाइट
ए Blood Group को मुख्य रूप से शाकाहारी खाना खाना चाहिए। इनके लिए मांसाहार उचित नहीं होता। कम अम्ल होने के कारण इन्हें मांस पचाने में परेशानी होती है। यह ब्लड ग्रुप थोड़ा सेंसेटिव होता है, इसका ज्यादा खयाल रखने की जरूरत होती है। इस ब्लड ग्रुप वालों को ताजा और प्राकृतिक भोजन करना चाहिए। आपको चावल, सोया, ओट्स, नूडल, पास्ता, लहसुन, कद्दू, पालक, टोफू (सोया पनीर), गाजर, शलगम, जामुन, आलूबुखारा, अनानास, चेरी, खुमानी, नीबू, अंगूर  इत्यादि खाना चाहिए।

क्या न लें: आम, पपीता, केला, नारियल, संतरा इत्यादि फल। बीयर, आचार, सिरका, किसी भी तरह के बींस, मकई का तेल, सन फ्लावर तेल, काजू, पिस्ता, मिर्च, सभी तरह की पत्ता गोभी, आलू, शक्करकंदी, मैदा, मेयोनिस, टमाटर, छोटा बैंगन इत्यादि।

बी ब्लड ग्रुप डाइट
बी Blood Group आज के जमाने की सभी बीमारियों से लड़ने की क्षमता रखता है। ये ब्लड ग्रुप सभी में से अधिक संतुलित माना जाता है। बी Blood Group वाले किसी भी प्रकार का भोजन खा सकते हैं और यदि ये अपने Blood Group के अनुसार डाइट लें तो बीमारियों से बच सकते है और लंबा जीवन जी सकते हैं। बी ब्लड ग्रुप वालों को मटन, मीट, पनीर, बकरी के दूध की पनीर, मोजरेला चीज, दही, ऑलिव, ओटमील, चावल, ब्राउन राईस, ब्राऊन ब्रैड, हरी पत्तेदार सब्जी, अनानास, केले, अंगूर, पपीता, प्लम इत्यादि खाना चाहिए।

क्या न खाएं: सी फूड, अमरीकन चीज, आइसक्रीम, मूंगफली, दलहन, गेहूं का आटा, मैदा, सूजी, इनसे बने प्रोडक्ट्स, कुट्टू का आटा, नूडल्स, टमाटर, कॉर्न, अमरक, टोफू, गरी नारियल, दालचीनी, काली मिर्च इत्यादि।

एबी ब्लड ग्रुप डाइट
एबी ब्लड ग्रुप दो तरह के एंटीजन मिलकर बनाते हैं। कभी-कभी ये कमजोर पाचन क्षमता वाले होते हैं। एबी ब्लड ग्रुप वालों को मांस, टर्की, मछली, योगर्ट, अंडा, बकरी के दूध की चीज, दूध, आलिव, दालें, ओटमील, चावल, गेहूं का आटा, ब्रोकली, पत्तागोभी, फूलगोभी, पार्सले, शक्करकंद, आलू, अंगूर, प्लम, जामुन, चेरी, अन्नानास, नीबू, किवी, लहसुन, स्ट्राबैरी, कॉफी, ग्रीन टी इत्यादि खाना-पीना चाहिए।

क्या न लें: बीन्स, राजमा, कुट्टू का आटा, मकई, सभी प्रकार के कॉर्न, स्प्राउट्स, आम, अमरूद, नारियल, केले संतरा, सभी तरह की मिर्च और चाय आदि का सेवन न करें।

ब्लड ग्रुप ओ और मच्छर

असल में, मैंने पढा कि O ब्लड ग्रुप वाले लोगों को A ब्लड ग्रुप की तुलना में दोगुना मच्छर काटते हैं. वहीं B ब्लड ग्रुप के लोगों को सामान्य रूप से मच्छर काटते हैं. एक रिसर्च के मुताबिक अगर आपके मम्मी पापा को ज्यादा मच्छर काटते हैं तो सम्भव है कि आपके साथ भी ऐसा हो. मच्छर हमारे ब्लड से प्रोटीन लेते हैं, मच्छर उन लोगों को भी ज्यादा काटते हैं जिन्हें ज्यादा पसीना आता है क्योंकि पसीने में लैक्टिक ऐसिड, यूरिक ऐसिड, अमोनिया जैसे तत्व होते हैं, जिनसे मच्छर जल्दी आकर्षित होते हैं.

अरे बाप रे !! खबर ने तो चौंका दिया जबकि मैं खुश था  कि क्योकि (ओ पॉजिटिव )यूनिवर्सल डोनर होते हैं और रक्तदान में सभी के काम आने वाले मे से हैं. इतना ही नही मैने यह भी पढा था कि इस ग्रुप के लोग मलेरिया की गंभीर स्थिति से सुरक्षित हैं. राष्ट्रीय मलेरिया अनुसंधान ने विभिन्न ब्लड ग्रुप पर मलेरिया के प्लाज्मोडियम का असर देखने के लिए रिसर्च की और जाना कि A, B व AB पॉजिटिव की अपेक्षा O पॉजिटिव ग्रुप के लोगों पर मलेरिया होने का असर दूसरों की अपेक्षाकृत कम देखा गया है.

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